जीवन मूल्य का विवेचन जब हम करते हैं, तो पाते हैं कि ‘जीवन’ से जुड़े हुए मूल्यों अर्थात् महत्त्वपूर्ण मान्यताओं और अवधारणाओं को ही सामान्यतः ‘जीवन मूल्य’ कहा जाता है। यहाँ हमें सब से पहले ‘मूल्य’ शब्द को समझना होगा, जिसके साथ जब व्यापक जीवनानुभवों को साहित्यकार जोड़ देता है, तभी कहा जाता है कि किसी रचना में जीवन-मूल्यों की अभिव्यक्ति हुई है।