हमारे दैनिक जीवन की शुरुआत हो या जिंद़गी का अंत या फिर इस जीवन के बीच की घटनाएं समस्याएं और क्रियाएं सभी में एक सवाल जरूर शामिल होता है। हम सवालों से स्वयं को अलग नहीं कर सकते क्यूंकि सवाल व्यक्ति, परिवार,समाज और देश तक के लिए भी एक महत्वपूर्ण और लाजमी शब्द है। हर सवाल के पश्चात ही हमें जवाब मिलता है और आज हर व्यक्ति के दिमाग में कोई न कोई सवाल चल रहा होता है। ऐसे ही सवाल आज पुरे देश में चल रहे हैं जिनके जवाब आज आवश्यक हो गए हैं प्रकृति के आरम्भ से अब तक, भारत के निर्माण,गुलामी तथा आजादी के बाद आज भी सवाल खड़े हैं। ये सवाल क्या हैं ये जानना देश के हर वर्ग की जिम्म्मेदारी है सवाल कोई कल्पना नहीं यह वो रचना है जो प्रत्यक्ष है और इस पुस्तक के रूप में आपके सामने हैं।